पांच राज्यों में हुए विधानसभा चुनाव में चार पर भारतीय जनता पार्टी (BJP) की बढ़त महाराष्ट्र में महा विकास अघाड़ी (MVA) सरकार को खतरे की घंटी हो सकती है। इसलिए क्योंकि पांच राज्यों के चुनावी नतीजों के जरिए बीजेपी उद्धव सरकार को घेर सकती है। उत्तर प्रदेश के अभी तक के आए रूझानों में बीजेपी एक बार फिर सत्ता में लौटती हुई दिख रही है। उत्तर भारतीय मतदाताओं ने संकेत दिया है कि वो पूरी दृढ़ता के साथ बीजेपी के लिए खड़े हैं।
महाराष्ट्र की राजधानी मुंबई में, ठाणे और उसके आसपास के इलाकों में पर्याप्त संख्या में हिंदी भाषी लोग हैं जो बीजेपी को एक विकल्प के तौर पर चुन सकते हैं। महाराष्ट्र में इस साल निकाय चुनाव होने वाले हैं। एमवीए नेता यह स्वीकार करते हैं कि अपनी सफलता से उत्साहित बीजेपी महाराष्ट्र में राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP), कांग्रेस और शिवसेना में असंतुष्ट तत्वों को टारगेट करने की कोशिश कर सकती है या फिर ऐसी स्थिति पैदा करने की कोशिश कर सकती है जिससे राज्य में राष्ट्रपति शासन भी लगाया जा सकता है।
कांग्रेस के एक सीनियर नेता ने कहा ‘बीजेपी एमवीए सरकार को अस्थिर करने या उसे घेरने के लिए एक गंभीर प्रयास कर सकती है। वे शिवसेना और एनसीपी में असंतुष्ट लोगों को तोड़ने की कोशिश कर सकती है। इन दलों (शिवसेना, एनसीपी, कांग्रेस) को अंदर से धीरे-धीरे कमजोर किया जा रहा है। हालांकि, क्या वे आगे निकल सकते हैं इसमें थोड़ा संशय हैं क्योंकि एमवीए के पास पर्याप्त संख्या बल है। बीजेपी राष्ट्रपति शासन लगाने पर भी विचार कर सकती है और नए सिरे चुनाव करवाकर सत्ता में लौट सकती है।’
पीएम मोदी के सामने कोई खड़ा नहीं हो सकता’
शिवसेना के एक नेता ने कहा, ‘परिणाम बहुत आश्चर्यजनक नहीं हैं, सिवाय गोवा को छोड़कर, जहां कांग्रेस के सत्ता में लौटने की उम्मीद थी।’ मुंबई में गोवा से और सिंधुदुर्ग और कोल्हापुर जैसे गोवा की सीमा से लगे क्षेत्रों से, हिंदू और कैथोलिक दोनों मतदाताओं का एक बड़ा हिस्सा है। नेता ने कहा, ‘विपक्ष में मौजूद मौजूदा खिलाड़ी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सामने खड़े नहीं हो सकते। रणनीति का अभाव है।’
एनसीपी शिवसेना बोली- नतीजों का असर एमवीए सरकार पर नहीं पड़ेगा
वही, एनसीपी के प्रवक्ता क्लाइट क्रेस्टो ने कहा कि पांच राज्यों के विधानसभा चुनाव परिणाम महाराष्ट्र सरकार के भाग्य को प्रभावित नहीं करेंगे। उन्होंने कहा कि ये नतीजे मायने नहीं रखते हैं। सरकार अच्छा काम कर रही है। वहीं, शिवसेना विधायक और प्रवक्ता मनीषा कायंडे ने कहा बीजेपी सिर्फ मार्केटिंग और इवेंट मैनेजमेंट में माहिर हैं। नतीजों का एमवीए सरकार पर कोई असर नहीं पड़ेगा।’