रशिया और यूक्रेन के बीच युद्ध आगे बढ़ने के साथ-साथ गंभीर होता जा रहा है। इस बीच रूस ने यूक्रेन के ऊपर किंजल मिसाइल गिराने का दावा किया है। उसका कहना है कि उसने पश्चिमी यूक्रेन में मौजूद हथियारों के जखीरे को नष्ट करने के लिए यह कदम उठाया है। बताते हैं कि किंजल मिसाइल हीरोशिया पर गिराए गए फैट मैन बम से 33 गुना ज्यादा न्यूक्लियर पेलोड कैरी कर सकती है। जब रूस किंजल मिसाइल का परीक्षण कर रहा था तो इसे एक गेम चेंजर बताया गया था। अब जबकि रूस ने यूक्रेन के साथ चल रहे युद्ध में इसका इस्तेमाल किया है तो देखना होगा कि यह संघर्ष को किस दिशा में मोड़ता है।
किंजल मिसाइल के बारे में सबकुछ
1- किंजल हवा में लांच होनी वाली एक हाइपर सोनिक मिसाइल है। इसकी रेंज 1500 से 2000 किमी बताई जाती है। यह 480 किलो न्यूक्लियर पेलोड कैरी कर सकती है। यह मात्रा हीरोशिया पर गिराए गए फैट मैन बम से 33 गुना ज्यादा है।
2- किंजल का हिंदी में मतलब होता है कटार। बताया जाता है कि रूसी राष्ट्रपति व्लादीमीर पुतिन ने मार्च 2018 में किंजल मिसाइल का अनावरण किया था। विशेषज्ञों का दावा है कि किंजल का कॉन्सेप्ट इस्कांदेर-एम जैसी जमीन से लांच होने वाली छोटी रेंज की बैलिस्टिक मिसाइलों से लिया गया है।
3- लांच होने के बाद किंजल 4900 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से स्पीड पकड़ती है। इसकी रफ्तार बढ़कर 12,350 किमी प्रति घंटे तक पहुंच सकती है।
4- ऐसा माना जाता है कि किंजल मिसाइल की हमला करने की क्षमता बेहद खतरनाक है। यह बहुत गहराई तक वार कर सकती है।
5- रूसी राष्ट्रपति पुतिन किंजल को एक आदर्श हथियार बताते हैं। यह आवाज से 10 गुना अधिक तेजी से उड़ान भरता और एयर डिफेंस सिस्टम को भेदने की क्षमता भी रखता है।
विशेषज्ञों में मतभेद
हालांकि रूस ने खुद किंजल मिसाइल के लांच करने का दावा किया है। लेकिन अभी भी विशेषज्ञों में इस दावे को लेकर संदेह है। हालांकि शुरुआती रिपोर्ट्स की मानें तो किंजल को कालिनीग्राद में डिप्लॉय किया गया था। यह पोलैंड और लिथुआनिया की सीमा से लगा बाल्टिक सागर का इलाका है। यह फरवरी की बात है जब रूस यूक्रेन के नजदीक अपनी सेना की तैनाती कर रहा था।