लोकसभा सचिवालय ने दिल्ली के सरकारी बंगले पर ‘अनधिकृत’ कब्जा करने को लेकर आप नेता और पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान के खिलाफ बेदखली की कार्रवाई शुरू करने को कहा है। संसद सदस्य होने के नाते भगवंत मान को दिल्ली में बंगला आवंटित किया गया था। 17वीं लोकसभा के सदस्य के तौर पर मान को केंद्र सरकार का डुप्लेक्स नंबर 33, नॉर्थ एवेन्यू आवंटित गिया गया था।
संगरूर से आप सांसद भगवंत मान ने पंजाब का सीएम बनने के लिए मार्च में इस्तीफा दिया था। लेकिन उन्होंने सांसद को मिलने वाला बंगला खाली नहीं किया। लोकसभा सचिवालय के मुताबिक 13 अप्रैल के बाद पूर्व सांसद द्वारा भवन पर कब्जा “अनधिकृत” है। लोकसभा सचिवालय द्वारा एस्टेट अधिकारी को भेजे गए आदेश में कहा गया है कि बंगले से बेदखल करने का आदेश पारित करते हुए पूर्व सांसद भगवंत मान समेत उन सभी व्यक्तियों को बंगले से बेदखल करने की कार्रवाई शुरू की जाए।
पॉलिसी के मुताबिक दिल्ली में तैनात होने वाले केंद्र सरकार के कर्मचारियों, सांसदों, जजों और अन्य गणमान्य व्यक्तियों को राष्ट्रीय राजधानी में आवासीय आवास आवंटित किया जाता है। इस दौरान अगर उनकी सर्विस की अवधि समाप्त हो जाती है या टाइम से पहले कार्यकाल खत्म हो जाता है तो उन्हें वो आवास खाली करना होता है जो केंद्र सरकार द्वारा उन्हें आवंटित किया जाता है। पीआरएस विधान के अनुसार, किसी व्यक्ति को आवासीय आवास से बेदखल करने से पहले केंद्र सरकार का संपत्ति अधिकारी पहले संबंधित व्यक्ति को एक लिखित नोटिस जारी करता है। इसके बाद उस व्यक्ति को तीन दिनों के भीतर बताना होता है कि उनके खिलाफ बेदखली का नोटिस जारी क्यों नहीं करना चाहिए?