नई दिल्ली – सैटेलाइट लॉन्च मार्केट की स्थिति क्या वाकई ठीक नहीं है। सैटेलाइट लॉन्च के रॉकेट उपलब्ध हैं लेकिन वैसी डिमांड नहीं है। इसरो चीफ एस सोमनाथ का कुछ ऐसा ही मानना है। भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) के अध्यक्ष एस सोमनाथ ने कहा है कि दुनिया भर में उपग्रह प्रक्षेपण बाजार की स्थिति खराब है। उन्होंने इस बात पर भी प्रकाश डाला कि रॉकेट उपलब्ध हैं और मांग का इंतजार किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि लोग आमतौर पर समझ नहीं पाते हैं। उन्हें लगता है कि अगर वे कम लागत वाले रॉकेट बनाएंगे, तो लोग आएंगे। लेकिन स्थिति वैसी नहीं है।
इसरो चीफ जिनके नेतृत्व में भारत ने पिछले साल अपने मुश्किल चंद्रयान-2 मिशन को पूरा किया, उनका मानना है कि वर्तमान स्थिति के लिए मुख्य कारण यह है कि दुनिया में सीमित संख्या में ही अच्छे सैटेलाइट का निर्माण किया गया है। सोमनाथ की यह टिप्पणी पिछले सप्ताह बेंगलुरु स्थित थिंक टैंक सिनर्जिया फाउंडेशन द्वारा आयोजित एक संवाद में चुनिंदा लोगों के समूह द्वारा पूछे गए सवालों के जवाब में आई।
ब्राजील, अर्जेंटीना और सऊदी अरब सहित तीसरी दुनिया के देश उपग्रह बना रहे थे और जमकर प्रतिस्पर्धा कर रहे थे। भारत ने अब तक दूसरे देशों के 435 उपग्रह प्रक्षेपित किए हैं और यह एक अच्छी संख्या है। इस साल भारत दूसरे देशों के चार उपग्रह प्रक्षेपित करेगा। यह संख्या कम है क्योंकि प्रक्षेपण क्षमता मांग से तीन गुना अधिक है।