नारायण राणे के घर के बाहर शिवसैनिकों का हंगामा, पुलिस ने किया लाठीचार्ज.

0

महाराष्ट्र की राजनीति में नया भूचाल आया है। केंद्रीय मंत्री नारायण राणे की जन आशीर्वाद यात्रा के दौरान कोरोना नियमों का पालन नहीं होने की दलील देकर करीब 22 एफआईआर दर्ज कर ली गई। ताजा खबर यह है कि पहली बार सीधे नारायण राणे के खिलाफ एफआईआर हुई है।

इतना ही नहीं, नासिक में हुई इस एफआईआर के बाद नारायण राणे की गिरफ्तारी का आदेश भी जारी कर दिया गया है। आरोप है कि ने महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के खिलाफ अपशब्दों का इस्तेमाल किया है। अभी कोंकड के चिपलून में ठहरे हैं। यानी नासिक पुलिस यहां पहुंचती है तो भारी ड्रामा देखने को मिल सकता है। वहीं, मुंबई में नारायण राणे के बेटे नितेश राणे के घर के बाहर भी ड्रामा शुरू हो गया है। शिवसैनिकों ने यहां प्रदर्शन किया तो नितेश ने ट्वीट किया, शेर की मांद में कोई नहीं घुस सकता है। मुंबई पुलिस प्रदर्शनकारियों को यहां से हटाएं, वरना इसके बाद जो होगा, उसी जिम्मेदारी पुलिस की होगी।नारायण राणे के घर के बाहर शिवसैनिकों का प्रदर्शन

शिवसैनिकों ने नारायण राणे के मुंबई स्थित घर के बाहर प्रदर्शन किया। पुलिस ने इन्हें रोकने के लिए लाठीचार्ज किया। महाराष्ट्र के विभिन्न शहरों में नारायण राणे के खिलाफ प्रदर्शन हो रहे हैं। नासिक में भाजपा दफ्तर पर पथराव हुआ तो सांगली में राणे के पोस्टर पर कालिख पोती गई। राणे के खिलाफ तीन शहरों में एफआईआर दर्ज की गई है। अब राणे की ओर से कहा गया है कि वे अग्रिम जमानत के लिए हाई कोर्ट का दरवाजा खटखटाएंगे।

नारायण राणे की सफाई

पूरे मामले पर नारायण राणे का कहना है कि मुझे इस बात की कोई जानकारी नहीं है कि मेरे खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है। मैं कोई आम आदमी नहीं हूं। मैंने कोई अपराध नहीं किया है। 15 अगस्त के बारे में कोई नहीं जानता तो क्या यह अपराध नहीं है? मैंने कहा था कि मैं थप्पड़ मार देता। ये शब्द थे और यह अपराध नहीं है।

उद्धव ठाकरे के खिलाफ ऐसा क्या कहा Narayan Rane ने

Narayan Rane ने जन आशीर्वाद यात्रा के आयोजकों पर 22 केस हुए, हालांकि किसी में भी केंद्रीय मंत्री का नाम नहीं रहा। दरअसल, Narayan Rane सोमवार देर शाम रायगढ के महाड़ में थे। उन्होंने यहां एक प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित किया। इस दौरा सवाल पूछा गया कि महाराष्ट्र में दही हांडी पर पाबंदी लगा दी गई है, इस पर आप क्या कहेंगे। इस पर नारायण राणे ने कहा, यह शर्मनाक है कि मुख्यमंत्री को आजादी का साल नहीं पता। (अपने 15 अगस्त के भाषण में उद्धव अटक गए थे) मैं वहां होता तो उसे एक जोरदार तमाचा मार देता।

भड़की शिवसेना

नारायण राणे के इस बयान के बाद शिवसैनिक गुस्सा हैं। जगह-जगह विरोध प्रदर्शन हो रहे हैं। वहीं उनकी टिप्पणी पर प्रतिक्रिया देते हुए शिवसेना के रत्नागिरी-सिंधुदुर्ग के सांसद विनायक राउत ने कहा कि राणे ने अपना मानसिक संतुलन खो दिया है।

About Author

Comments are closed.

Maintain by Designwell Infotech