लोकसभा चुनाव के मद्देनजर भाजपा को सूक्ष्म प्रबंधन के जरिए बूथ स्तर तक गतिशील बनाने के लिए संगठन में अगले एक माह में अहम बदलाव किए जा सकते हैं। इनमें उत्तर प्रदेश समेत कई राज्य शामिल है। उत्तर प्रदेश को नया अध्यक्ष के साथ नया संगठन प्रभारी भी मिल सकता है। लगभग आधा दर्जन राज्यों के संगठन प्रभारियों में बदलाव किए जाने की संभावना है।
केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार के आठ साल पूरे होने पर भाजपा संगठन द्वारा मनाया जा रहा ‘सेवा, सुशासन और गरीब कल्याण पखवाड़ा’ के बाद पार्टी के संगठनात्मक ढांचे में कई बदलाव किए जाने की संभावना है। सूत्रों के अनुसार, कई राज्यों में संगठन में बदलाव किया जाएगा। कुछ राज्यों में नए नेतृत्व के साथ नई टीम तैयार की जाएंगी। यह सारी कवायद अगले लोकसभा चुनाव के लिए पार्टी संगठन को नए सिरे से मजबूत करने की दृष्टि से की जाएगी।
यूपी को मिलेगा नया अध्यक्ष
उत्तर प्रदेश में मौजूदा अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह के राज्य सरकार में मंत्री बन जाने के बाद वहां पर नए अध्यक्ष की नियुक्ति की जानी है। सूत्रों के अनुसार, राज्य में संगठन प्रभारी और संगठन महामंत्री पद पर भी बदलाव की संभावना है। पिछले माह जयपुर में हुई पार्टी के राष्ट्रीय पदाधिकारियों की बैठक में संगठन को लेकर नई रूपरेखा तैयार की गई थी। इस बैठक में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पार्टी से अगले 25 साल के हिसाब से तैयारी करने को कहा था। ऐसे में पार्टी में सूक्ष्म प्रबंधन पर ज्यादा जोर दिए दिए जाने की संभावना है।
राष्ट्रीय कार्यकारिणी से पहले भी बदलाव संभव
सूत्रों का कहना है कि पार्टी अध्यक्ष जे.पी. नड्डा अगले माह की शुरुआत में हैदराबाद में होने वाली राष्ट्रीय कार्यकारिणी से पहले या बाद में संगठन में सभी जरूरी बदलाव कर लेंगे। दरअसल भाजपा को अगले दो साल में हर दो-तीन माह के भीतर कहीं न कहीं चुनाव में जाना ही पड़ रहा है। चाहे वह पंचायत या स्थानीय निकाय के चुनाव या विधानसभा के चुनाव। ऐसे में पार्टी विभिन्न राज्यों में लगातार व्यस्त रहेगी।