हाई कोर्ट की शरण पहुंचा मुंबई आतंकी हमले का बरी आरोपी

0

मुंबई, 27 फरवरी । मुंबई के 26/11 आतंकवादी हमले के आरोप में बरी किए गए फहीम अंसारी ने बांबे हाई कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। उसने अपनी याचिका में मांग की है कि ऑटो रिक्शा चलाकर जीविकोपार्जन के लिए उसे पुलिस से अनापत्ति प्रमाण पत्र (क्लीयरेंस सर्टिफिकेट) मिलना चाहिए।

एक विशेष अदालत ने मई 2010 में इस मामले में एकमात्र पाकिस्तानी आतंकवादी अजमल कसाब को दोषी ठहराया था। हालांकि इस मामले में सबूतों के अभाव में फहीम अंसारी और सबाउद्दीन अहमद को बरी कर दिया गया था। अंसारी ने पिछले महीने हाई कोर्ट में एक याचिका दायर कर पुलिस क्लीयरेंस सर्टिफिकेट (पीसीसी) की मांग की थी ताकि वह ऑटो रिक्शा चलाकर अपनी आजीविका चला सके। हाल ही में न्यायमूर्ति रेवती मोहिते-डेरे और न्यायमूर्ति नीला गोखले की पीठ के समक्ष यह याचिका सुनवाई के लिए आई। इसके बाद अदालत ने मामले की सुनवाई से खुद को अलग कर लिया। अब न्यायमूर्ति सारंग कोतवाल की अध्यक्षता वाली पीठ के समक्ष 17 मार्च को इस पर सुनवाई होगी।

2019 में जेल से रिहा होने के बाद अंसारी को मुंबई में एक प्रिंटिंग प्रेस में नौकरी मिल गई। लेकिन कोविड काल के दौरान वह प्रेस बंद हो गई। इसके बाद उसे मुंब्रा में एक प्रिंटिंग प्रेस में नौकरी मिली। कम आय के कारण अंसारी ने ऑटो-रिक्शा लाइसेंस के लिए आवेदन किया था। उसे लाइसेंस 1 जनवरी 2024 को प्राप्त हुआ। इसके बाद अंसारी ने पीसीसी के लिए आवेदन किया, जो वाणिज्यिक उद्देश्यों और ऑटो-रिक्शा चलाने के लिए अनिवार्य है। कोई जवाब न मिलने पर अंसारी ने सूचना अधिकार के तहत आवेदन दायर किया। उस समय अंसारी को बताया गया कि प्रमाण पत्र जारी नहीं किया जा सकता क्योंकि उस पर लश्कर-ए-तैयबा का सदस्य होने का आरोप है। अंसारी ने इसके खिलाफ हाई कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है।

अंसारी ने अपनी याचिका में दावा किया है कि पुलिस का यह निर्णय मनमाना, अवैध और भेदभावपूर्ण है। यह उसकी आजीविका के मौलिक अधिकार का उल्लंघन करता है। याचिका में यह भी कहा गया है कि आवेदक पर पूरी तरह से प्रतिबंध नहीं लगाया जा सकता क्योंकि उस पर 26/11 आतंकी हमले के मामले में मुकदमा चला था। खासकर तब जब बांबे हाई कोर्ट के बाद सुप्रीम कोर्ट ने भी उसे बरी किए जाने के फैसले को बरकरार रखा है। अंसारी ने याचिका में पुलिस क्लीयरेंस सर्टिफिकेट देने का निर्देश देने की मांग अदालत से की है।

About Author

Leave A Reply

Maintain by Designwell Infotech