महाराष्ट्र में शिवसेना और एनसीपी और कांग्रेस के महा विकास अघाड़ी गठबंधन में दरार देखने को मिल रही है। कांग्रेस ने ऐलान किया है कि वह बृहन्मुंबई नगरपालिका के आगामी चुनावों में सभी 236 सीटों पर अकेले चुनाव लड़ेगी। मुंबई कांग्रेस चीफ भाई जगताप ने यह ऐलान पार्टी के 137वें स्थापना दिवस पर आयोजित कार्यक्रम के दौरान की।
उन्होंने कार्यक्रम के दौरान कहा, ‘137 सिर्फ आंकड़ा नहीं है, यह कांग्रेस की विचारधारा की विरासत है, जो अभी भी देश के लोगों के दिमाग में मौजूद है। सन् 1885 में तेजपाल हॉल में कांग्रेस का गठन हुआ। वोमेश चंद्र बनर्जी और दादाभाई नौरोजी से लेकर सोनिया गांधी, राहुल गांधी तक कांग्रेस ने अभी तक 60 अध्यक्ष देखे हैं। महात्मा गांधी ने भारत छोड़ो का नारा भी तेजपाल हॉल के परिसर के सामने अगस्त क्रांति मैदान से ही दिया था। अब हम इस हॉल में एक और प्रण लेने जा रहे हैं। आने वाले बीएमसी चुनावों में कांग्रेस मुंबई की सभी 236 सीटों पर अकेले लड़ेगी और बीएमसी पर एक बार फिर कांग्रेस का तिरंगा फहराएगा।’
शिवसेना ने भी महा विकास अघाड़ी गठबंधन से इतर अकेले बीएमसी चुनाव लड़ने का ऐलान किया है। करीब 20 सालों तक बीएमसी पर काबिज रहने वाली शिवसेना 200 से ज्यादा सीटों पर लड़ेगी।
हालांकि, राजनीतिक विशेषज्ञ मानते हैं कि शिवेसना बीएमसी चुनाव एनसीपी के साथ गठबंधन में लड़ सकती है। मौजूदा समय में एनसीपी के पास बीएमएस की के आठ कॉर्पोरेशन हैं। वहीं, 28 कॉर्पोरेटर्स के साथ कांग्रेस सबसे बड़ी विपक्षी पार्टी है।