कानपुर के ग्रीन पार्क स्टेडियम में खेले गए टेस्ट मैच के आखिरी दिन के करीब 10 ओवर बचे थे, टीम इंडिया को तलाश थी एक विकेट की और न्यूजीलैंड को झेलनी थी 50 से ज्यादा गेंदें। रचिन रविंद्र और एजाज पटेल क्रीज पर थे, दोनों के पास भारत में बल्लेबाजी करने का अनुभव नहीं था और सामने गेंदबाजी के लिए थे आर अश्विन, अक्षर पटेल और रविंद्र जडेजा। तीनों ने ही दूसरी पारी में कीवी टीम की बैंड बजा रखी थी। मैच के बाद रचिन और पटेल ने बताया कि वह आखिरी समय में कितना नर्वस थे।
22 साल के रविंद्र (91 गेंद पर नॉटआउट 18 रन) और भारतीय मूल के ही एजाज पटेल (23 गेंद में नॉटआउट दो रन) ने भारत के पंजे से जीत निकाल ली। जीत के लिए 284 रन की तलाश में न्यूजीलैंड ने नौ विकेट गंवा दिए थे लेकिन इन दोनों ने आखिरी विकेट नहीं गिरने दिया। मुंबई में जन्मे पटेल पहली बार भारत में खेल रहे थे, जिन्होंने तीन विकेट भी लिए। रविंद्र को विकेट नहीं मिला। पटेल ने न्यूजीलैंड क्रिकेट टीम के आधिकारिक ट्विटर हैंडल के लिए रविंद्र का इंटरव्यू लिया। उन्होंने पूछा, ‘मुझे अपना पहला टेस्ट याद है। मैं बहुत नर्वस था और गेंद हाथ में मिलने के समय मेरे हाथ कांप रहे थे। तुम्हारा कैसा अनुभव था?
अपना पहला टेस्ट खेलने वाले रविंद्र ने कहा, ‘मैं भी गेंदबाजी को लेकर नर्वस था। पहली पारी में हमारे चार विकेट गिर चुके थे और मैं अगला उतरा था। मुझे बहुत बेचैनी हो रही थी लेकिन कुछ गेंद बाद ठीक हो गया।’ रविंद्र का पहला नाम रचिन भारत कें महान क्रिकेटरों सचिन तेंदुलकर और राहुल द्रविड़ से प्रेरित है। उन्होंने कहा कि भारतीय फैन्स के सामने खेलकर उन्हें अच्छा लगा। उन्होंने कहा, ‘भारत के मशहूर क्रिकेट फैन्स के सामने खेलकर अच्छा लगा। मेरे करियर पर मेरे माता-पिता का काफी प्रभाव रहा है। मुझे यकीन है कि वे गौरवान्वित होंगे।’ उन्होंने पटेल से कहा, ‘भाई , हमने मिलकर यह कर दिखाया।’