प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने नेशनल हेराल्ड मनी लॉन्ड्रिंग मामले में कांग्रेस सांसद राहुल गांधी को 17 जून को चौथी बार पूछताछ के लिए तलब किया है। अधिकारियों ने बताया कि कांग्रेस सांसद ने गुरुवार के लिए छूट मांगी जिसकी अनुमति दे दी गई। राहुल गांधी कथित मनी लॉन्ड्रिंग के एक मामले में लगातार तीसरे दिन बुधवार को भी ईडी के समक्ष पेश हुए और जांच एजेंसी ने 8 घंटे से अधिक समय तक उनसे ‘एसोसिएटेड जर्नल्स लिमिटेड’ (AJL) और इसका स्वामित्व रखने वाली कंपनी ‘यंग इंडियन’ से जुड़े निर्णयों में उनकी निजी भूमिका के बारे में पूछताछ की।
राहुल गांधी सीआरपीएफ जवानों की ‘जेड प्लस’ श्रेणी की सुरक्षा के साथ सुबह करीब 11 बजकर 35 मिनट पर मध्य दिल्ली में एपीजे अब्दुल कलाम रोड पर स्थित ईडी मुख्यालय पहुंचे। उनके साथ उनकी बहन और कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी भी थीं। अधिकारियों का कहना है कि तीन दिनों की पूछताछ के दौरान राहुल गांधी के बयान की ऑडियो एवं वीडियो रिकॉडिंग की गई। उनके बयानों को ए4 आकार वाले कागज पर टाइप किया जा रहा है और मिनट-मिनट के आधार पर उन्हें दिखाया जाता है और हस्ताक्षर करवाया जाता है तथा इसके बाद जांच अधिकारी को इसे सौंपा जाता है।
कांग्रेस का दावा- कोई प्राथमिकी नहीं है
कांग्रेस का दावा है कि इस मामले में कोई प्राथमिकी नहीं है और ‘अनूसूचित अपराध’ नहीं है जिसके आधार पर धनशोधन रोकथाम कानून (पीएमएलए) का मामला दर्ज हो और राहुल गांधी एवं सोनिया गांधी को तलब किया जाए। अधिकारियों ने कहा कि ईडी की कार्यवाही प्राथमिकी के आधार पर की जाने वाली प्रक्रियाओं की तुलना में कहीं ज्यादा ठोस है क्योंकि अदालत ने आयकर विभाग की ओर से दायर आरोप पत्र का संज्ञान लिया है और पक्रिया जारी रखी।
15-16 सवाल राहुल गांधी के समक्ष रखे गए हैं
राहुल गांधी पिछले दिनों में ईडी ऑफिस में सवाल-जवाब के कई सत्र में 24 घंटे से अधिक समय तक रह चुके हैं। सूत्रों के अनुसार, ‘यंग इंडियन’ की स्थापना, ‘नेशनल हेराल्ड’ के संचालन और एसोसिएटेड जर्नल्स लिमिटेड (एजेएल) को कांग्रेस द्वारा दिए गए कर्ज तथा मीडिया संस्था के भीतर धन के ट्रांसफर से जुड़े 15-16 सवाल राहुल गांधी के समक्ष रखे गए हैं। अधिकारियों ने कहा कि राहुल गांधी की भूमिका और उनका विस्तृत बयान महत्वपूर्ण है क्योंकि वह ‘यंग इंडियन’ में बड़े शेयरहोल्डर हैं तथा एजेएल और नेशनल हेराल्ड के मामलों में महत्वपूर्ण व्यक्ति हैं।